मंडी, 15 सितम्बर। एडीएम मंडी डॉ मदन कुमार ने कहा है कि जिला में कार्य कर रही प्राथमिक कृषि सेवा सहकारी सभाओं को बहुउद्देशीय बनाने के लिए आदर्श उपविधियां को लागू किया जा रहा हैं ताकि उनमेे व्यवसायिक गतिविधियों में विविधता लाकर उन्हें ग्रामीण स्तर पर जीवंत आर्थिक संस्थाएं बनाई जा सके। यह जानकारी उन्होंने जिला सहकारी विकास समिति की बैठक की अध्यक्षता करते हुए दी। एडीएम ने बताया कि आदर्श उप-विधियों में पैक्स में 25 से अधिक गतिविधियां डेयरी, मत्स्य पालन, गोदाम की स्थापना, खाद्यान, उर्वरक, बीज की खरीद, एलपीजी, पेट्रोल और डीजल का वितरण, अल्पकालीन और मध्य अवधि ऋण, कस्टम हायरिंग सेंटर, कॉमन सर्विस सेंटर, उचित मूल्य की दुकानें, सामुदायिक सिंचाई, व्यवसायिक पत्राचार शामिल की गई है। उन्होंने बताया कि इससे रोजगार के नए अवसर भी सृजित होंगे। जिला मंडी में 233 पैक्स में से 24 सभाओं ने यह उप-विधियां अपना ली हैं और बाकियों में प्रक्रिया जारी है।
उन्होंने बताया कि भारत सरकार के सहकारिता मंत्रालय के निर्देश पर जिले की 119 प्राथमिक कृषि सहकारी समितियों का कम्प्यूटरीकरण कर इन्हें एकल राष्ट्रीय सॉफटवेयर नेटवर्क के माध्यम से नाबार्ड के साथ लिंक किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इससे सहकारी सभाओं के कामकाज में पारदर्शिता, दक्षता और विश्वसनीयता बढ़ेगी। इसके लिए इन सभी सभाओं का अंकेक्षण कार्य पूरा कर लिया गया है। उन्होंने विभाग को इस कार्य में और तेजी लाने का भी निर्देश दिया।
उन्होंने जिला की 559 पंचायतों में 233 पैक्स, 166 दुग्ध सहकारी सभाएं व 5 मत्स्य सहकारी सभाएं पंजीकृत हैं। उन्होंने बताया कि सहकारिता मंत्रालय की पहल पर की कोई भी पंचायत पैक्स, दुग्ध अथवा मत्स्य सभा से अछूती न रहे। इसके लिए अगर लोग अपनी पंचायत में कोई सहकारी सभा खोलना चाहते हैं तो वहां नई सभा खोली जाएगी। इसके तहत जिला में 2 पैक्स और 17 डेयरी सहकारी सभाओं को भी पंजीकृत किया गया है।
उन्होंने बताया कि अब पैक्स ई-सेवाओं की बेहतर पहुंच के लिए कॉमन सर्विस सेंटर के रूप में भी कार्य करेगी। इसके लिए 6 पैक्स की आईडी भी बना दी गई है। इसके अलावा सभाओं को प्रधानमंत्री जन औषधि अभियान के लिए रजिस्ट्रेशन करवाने, एलपीजी, पेट्रोल पंप इत्यादि की डिस्ट्रीब्यूटरशिप के लिए भी पात्र किया है।
इस अवसर पर एआरसीएस नरेन्द्र दत्त शर्मा के अतिरिक्त समिति के पदाधिकारी उपस्थित रहे।