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डॉ. निरंजन देव ने किया हिमतरु बाल विशेषांक का लोकार्पण

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कुल्लू, 27 अगस्त। हिमतरु द्वारा प्रकाशित बाल विशेषांक का लोकार्पण आज ज़िला मुख्यालय स्थित मोनाल कैफे में वरिष्ठ समीक्षक एवं लेखक डॉ. निरंजन देव शर्मा द्वारा किया गया। वरिष्ठ कवि अजेय, वरिष्ठ पत्रकार एवं लेखक रमेश पठानिया, राजकीय महाविद्यालय पनारसा की प्राचार्या उरसेम लता, चित्रकार डॉ. संजू पॉल तथा प्रेस क्लब के प्रधान धनेश गौतम ने उनका सहयोग किया।
हिमतरु द्वारा प्रकाशित इस महत्तवपूर्ण बाल विशेषांक के लोकार्पण अवसर पर निरंजन देव शर्मा ने कहा कि बाल साहित्य का बच्चों पर बहुत गहरा प्रभाव पड़ता है। एक अच्छा बाल-साहित्य बच्चों के चरित्र निर्माण में भी मुख्य भूमिका निभाती है, क्योंकि इससे बच्चों के मन में अच्छे संस्कार आते हैं। उन्होंने कहा कि बाल साहित्य पंचतंत्र की ही तर्ज पर होता है। पंचतंत्र की कहानियों का बाल मन पर क्या असर होता है, यह हम कहानियों और व्यवहारिक तौर महसूस कर सकते हैं और किया भी है।
डॉ. निरंजन देव शर्मा ने कहा कि बाल साहित्य बच्चों को पसंद भी काफी आता है। इस मामले में बड़े उनसे पीछे ही रह जाते हैं। बाल साहित्य बच्चों के पढ़ने या देखने से उनकी कल्पना शक्ति का भरपूर विकास होता है। बात करने का ढंग, बड़े-छोटे के प्रति व्यवहार, मुसीबत में अपने विवेक से समस्या से निजात पाने के कुछ गुण इत्यादि। बशर्ते बाल साहित्य में जीवन से जुड़ी व कल्पनाशीलता के साथ सत्यता का भी समावेश हो। उन्होंने कहा कि बच्चे वे नहीं करते जो हम उन्हें करने के लिए कहते हैं, वे वो करते हैं जो हमें करता हुआ देखते हैं। बाल साहित्य में मनोरंजन के साथ-साथ कुछ नई तथा कुछ पुरानी बातों को सीख व जानकारी हासिल कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि ध्यान देने वाली बात यह भी है कि उन्हें इन बातों को समझने के लिए मार्गदर्शन की भी आवश्यकता है, क्योंकि अपनी समझ को व्यवहारिक तौर पर लाने में मेहनत भी करनी होती है। दूसरे उन बातों को सत्यता से भी रू-ब-रू करवाना जरूरी है। कहा कि कभी-कभी सोच तो अच्छी बन जाती है, परंतु बगैर मेहनत के सिर्फ सोच ही रह जाती है। 
इस दौरान विभिन्न विधाओं में बाल प्रतियोगिताएं के विजेता व प्रतिभागी विद्यार्थियों को प्रमाण-प्रत्र देकर पुरस्कृत किया गया। चित्रकारी प्रतियोगिता के प्रथम वर्ग ;5वीं-8वींद्ध में रुद्रेश ;ओएलएसद्ध प्रथम, वैष्णवी ;भारत-भारती स्कूलद्ध दूसरे तथा सक्षम ;भारत-भारती स्कूलद्ध तीसरे स्थान पर रहे। दूसरे वर्ग ;8वीं-12वींद्ध धान्या ;भारत-भारती स्कूलद्ध प्रथम, अनन्या ;भारत-भारती स्कूलद्ध दूसरे तथा तान्या ;पीएमश्री रा.व.मा.वि. हरिपुरद्ध तीसरे स्थान पर रही। 
फोटोग्राफी प्रतियोगिता के प्रथम वर्ग ;5वीं-8वींद्ध में रिषिका ;भारत-भारती स्कूलद्ध प्रथम, अनन्या ;भारत-भारती स्कूलद्ध दूसरे स्थान पर रहे। दूसरे वर्ग ;8वीं-12वींद्ध में धान्या ;भारत-भारती स्कूलद्ध प्रथम, सुहासिनी ;कुल्लू कान्वेंट स्कूलद्ध दूसरे स्थान पर रही जबकि तीसरे वर्ग ;कॉलेजद्ध में मिनाक्षी ;जेएलएन रा. महाविद्यालय, हरिपुरद्ध प्रथम, राजकुमार ;जेएलएन रा. महाविद्यालय, हरिपुरद्ध दूसरे तथा मुकेश ठाकुर ;राजकीय महाविद्यालय पनारसाद्ध तीसरे स्थान पर रहे। 
हिमतरु के संपादक किशन श्रीमान ने जानकारी दी कि चित्रकारी और फोटोग्राफी प्रतियोगिता में ज़िला के विभिन्न विद्यालयों एवं महाविद्यालयों के दर्जनों विद्यार्थियों ने भाग लिया तथा सब प्रतिभागियों को पत्रिका में स्थान दिया गया है। उन्होंने बताया कि प्रतियोगिता के निष्पक्ष परिणाम को लेकर राजकीय महाविद्यालय, कुल्लू से प्रो. सोम नेगी, डॉ. महि योगेश तथा डॉ. राकेश राणा ने निर्णायक की भूमिका निभाई। 
लोकार्पण समारोह में राजकीय महाविद्यालय पनारसा की प्रोफेसर निशा, हिमतरु के तमाम सदस्य, विभिन्न विद्यालयों व महाविद्यालयों के विद्यार्थी भी मौजूद रहे।

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