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शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने आज यहाँ राजकीय आदर्श कन्या वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला पोर्टमोर के वार्षिक पारितोषिक वितरण समारोह में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की। उन्होंने स्कूल की प्रतिभावान एवं मेधावी छात्राओं को पुरस्कृत किया और स्कूल द्वारा प्रकाशित सामरिक वाटिका 2024-25 का विमोचन भी किया।
परख कार्यक्रम के लिए पूर्ण समपर्ण के साथ कार्य करें शिक्षक
शिक्षा मंत्री ने स्कूल की सभी शिक्षकों से दिसंबर में आयोजित किए जा रहे परख कार्यक्रम के लिए पूर्ण समपर्ण के साथ कार्य करने का आवाहन किया। उन्होंने कहा कि यह कमियों को दूर करने का अवसर है जो 3 वर्षों के बाद मिला है जिससे हिमाचल प्रदेश शिक्षा के क्षेत्र में फिर से शीर्ष स्थान पर पहुँच सकता है।
पोर्टमोर स्कूल मुकुट का गहना
शिक्षा मंत्री ने स्कूल को बधाई देते हुए कहा कि राजकीय आदर्श कन्या वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला पोर्टमोर उनके लिए एक विशेष स्थान रखता है. उन्होंने बताया कि उनके परिवार की कई महिलाएं इसी स्कूल से शिक्षा ग्रहण कर चुकी हैं। उन्होंने स्कूल को मुकुट का गहना (jewel in the crown) की संज्ञा देते हुए कहा कि पोर्टमोर स्कूल की गिनती प्रदेश के अग्रणी स्कूलों में की जाती है जोकि बड़े ही गर्व की बात है। उन्होंने कहा कि इस स्कूल से कई प्रतिभाएं निकली हैं जिन्होंने प्रदेश का नाम देश ही नहीं बल्कि विदेशों में चमकाया है और आज इस समारोह में बेटियों के प्रदर्शन को देखकर उन्हें आने वाले भारत की झलक देखने को मिली है।
हॉस्टल की जमीन चयनित करवाने के लिए करेंगे व्यक्तिगत प्रयास
रोहित ठाकुर ने कहा कि पिछले वर्ष मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने स्कूल में हॉस्टल की नीव रखी थी परन्तु जमीन का चयन सही न होने से यह कार्य अभी शुरू नहीं हो पाया है। उन्होंने आश्वाशन दिया कि हॉस्टल की जमीन चयनित करवाने के लिए वह व्यक्तिगत प्रयास करेंगे ताकि छात्राओं को यह सुविधा जल्द से जल्द उपलब्ध हो सके।
गुणात्मक शिक्षा के लिए दो वर्षों में भरे रिक्त पद
उन्होंने कहा कि पिछले दो वर्षों के कार्यकाल में प्रदेश सरकार ने गुणात्मक शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए जो कार्य किए हैं वह आपके सामने हैं। प्रदेश सरकार इस दिशा में कार्य कर रही है जिससे सरकारी स्कूल किसी भी प्रकार से अन्य स्कूलों से पीछे न रहे। प्रदेश सर्कार ने कैबिनेट में 15000 पदों को भरने की स्वीकृति दी है और इस दिशा में चरणबद्ध तरीके से कार्य किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि पिछले 5 सालों से उपनिदेशक शिक्षा के 41 पद रिक्त पड़े हैं जिन में से 39 पदों को आने वाले दिनों में भर दिया जायेगा। इसी प्रकार, कॉलेज कैडर में प्रिंसिपल के पद भी काफी समय से रिक्त पड़े थे जिनमें 120 प्रिंसिपल सीधी भर्ती और पदोनति के माध्यम से नियुक्त किये गए हैं। इसी प्रकार, स्कूली शिक्षकों के 6000 पद भरे जा रहे हैं और एनटीटी के 6200 पद स्वीकृति भी दे दी गई है जिनकी भर्ती भी जल्द हो जाएगी।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि 2011 की जनगणना के अनुसार हिमाचल प्रदेश में 83 प्रतिशत लोग शिक्षत थे और आज हिमाचल प्रदेश सबसे शिक्षित प्रदेशों में गिना जाता है। प्रदेश सरकार द्वारा कुल बजट का 20 प्रतिशत शिक्षा क्षेत्र में व्यय किया जा रहा है ताकि हर बच्चे को बेहतर और गुणात्मक शिक्षा उपलब्ध हो। उन्होंने बताया कि अंग्रेजी मीडियम को पहली कक्षा से अनिवार्य किया गया है इसी प्रकार, एसएमसी को स्कूल की वर्दी निर्धारित करने के लिए प्राधिकृत किया गया है। उन्होंने बताया कि डाइट और एससीइआरटी को भी सुदृढ़ करने के प्रयास किए जा रहे हैं। स्कूल एडॉप्शन प्रोग्राम के तहत मंत्री, विधायक, अधिकारी सरकारी स्कूलों को गोद ले रहे हैं।
रोहित ठाकुर ने बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा बेहतर कार्य करने वाले शिक्षकों और मेधावी छात्रों को एक्सपोज़र टूर करवाए जा रहे हैं। इसी के तहत शीर्ष 20 स्कूलों के छात्रों को एक्सपोज़र टूर पर भेजा जायेगा।
नृत्य प्रस्तुति के लिए 50 हजार और गायन के लिए 10 हजार की घोषणा
शिक्षा मंत्री ने कार्यक्रम के दौरान सांस्कृतिक प्रस्तुतियां देने वाली छात्राओं की सराहना करते हुए कहा कि आने वाले पीढ़ियों पर संस्कृति को संजोये रखने की जिम्मेदारी है। इसके अतिरिक्त, ऐसी गतिविधियों में बाग़ लेना व्यक्तित्व के समग्र विकास में भी सहायक सिद्ध होता है। उन्होंने सांस्कृतिक प्रस्तुतियां के तहत नृत्य करने वाली छात्राओं को 50 हजार और गाना गाने वाली छात्राओं को 10 हजार रुपए अपनी ऐच्छिक निधि से देने की घोषणा की। उन्होंने स्कूल में संगीत विषय का अध्यापक न होने के मामले में स्थाई नियुक्ति न होने तक आउटसोर्स आधार पर नियुक्ति करने को भी कहा।
स्कूल की प्रिंसिपल राखी पंडित ने शिक्षा मंत्री सहित अन्य अतिथियों का स्वागत किया और स्कूल की वार्षिक रिपोर्ट प्रस्तुत की।
एसएमसी के अध्यक्ष संजय शर्मा ने धन्यवाद सम्बोधन प्रस्तुत किया।
यह भी रहे उपस्थित
इस दौरान उपनिदेशक उच्च शिक्षा एल.आर. भारद्वाज, उपनिदेशक प्रारंभिक शिक्षा मोहिंदर सिंह पेकटा सहित स्कूल के शिक्षक और गैर शिक्षक, अभिभावक और छात्राएं उपस्थित रही।