शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल से जुन्गा को मिलेगी पर्यटन स्थल के रूप में पहचान

Read Time:12 Minute, 35 Second

हिमाचल प्रदेश अपनी प्राकृतिक सुंदरता और साफ़ आबोहवा तथा समृद्ध संस्कृति के लिए देश ही नहीं बल्कि विदेशों में भी मशहूर है। हर साल यहाँ करोड़ों की संख्या में पर्यटक देश विदेश से घूमने आते हैं जिससे पर्यटन के माध्यम से प्रदेश की अर्थव्यवस्था भी सुदृढ़ होती है। परन्तु इस वर्ष बरसात के मौसम में भारी बारिश और भूस्खलन की घटनाओं से प्रदेश में काफी नुकसान हुआ जिससे पर्यटन कारोबार को भी काफी नुकसान उठाना पड़ा। लेकिन सीमित संसाधनों के बावजूद प्रदेश सरकार ने त्वरित कार्रवाई करते हुए लगभग सभी अवरुद्ध मार्गों को खुलवाया ताकि यहाँ आने वाले लोगों को किसी भी प्रकार की असुविधा न हो। आज हिमाचल प्रदेश में पर्यटन गतिविधियां लगभग पूर्ण रूप से सुचारु हैं और प्रदेश में आने वाले पर्यटकों की संख्या भी दिन पर दिन बढ़ती जा रही। 

जिला शिमला के जुन्गा में 12 से 15 अक्टूबर, 2023तक शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल का आयोजन द ग्लाइड इन में किया जा रहा है जिसमें देश ही नहीं बल्कि विदेशों से भी प्रतिभागी अपने प्रतिभा का लोहा मनवाएंगे। इस फेस्टिवल को जिला प्रशासन शिमला और पर्यटन विकास निगम के सहयोग से आयोजित करवाया जा रहा है। शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल के आयोजन के लिए पर्यटन विकास निगम ने 10 लाख रुपए की राशि भी जारी की है। यह प्रतियोगिता एक्यूरेसी पर आधारित रहेगी, जो जुन्गा में पहली दफा आयोजित की जा रही है। फेस्टिवल में पैराग्लाइडिंग की सोलो एवं टेंडम फ्लाइट चलेंगी जिसमें सोलो में एक प्रतिभागी तथा टेंडम में दो प्रतिभागी हिस्सा लेंगे। 

पर्यटन को पुनः सुचारू करने में सहायक होगा शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल – उपायुक्त

उपायुक्त शिमला आदित्य नेगी ने कहा कि प्रदेश और जिला में गत दिनों हुई भारी बरसात से पर्यटन कारोबार और इससे जुड़े लोगों को काफी नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा कि 12 से 15 अक्टूबर 2023 तक आयोजित किए जा रहा यह फेस्टिवल पर्यटन को पुनः सुचारू करने में सहायक सिद्ध होगा। इस फेस्टिवल में देश-विदेश से पैराग्लाइडर हिस्सा लेंगे। उन्होंने पर्यटकों से जुन्गा में आयोजित किये जा रहे इस फेस्टिवल में आकर पैराग्लाइडिंग की आयोजित की जा रही विभिन्न प्रतिस्पर्धाओं का आनंद उठाने का आह्वान किया। इसके अतिरिक्त, उन्होंने देश-विदेश के  पैराग्लाइडर से इस फेस्टिवल में हिस्सा लेने का आग्रह किया। 

शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल से पर्यटन को आवश्यक रूप से होगा लाभ, रोजगार के खुलेंगे द्वार

द ग्लाइड इन जुन्गा के प्रबंध निदेशक अरुण रावत ने बताया कि शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल के आयोजन से यहाँ पर आने वाले पर्यटकों एवं प्रतिभागियों को हेरिटेज, ट्रेल एडवेंचर,  स्पिरिचुअल सर्किट, फॉरेस्ट आदि की अनुभूति प्राप्त होगी। इस तरह के फेस्टिवल एवं आयोजन से पर्यटन को आवश्यक रूप से लाभ प्राप्त होगा। हिमाचल के बिड बिलिंग, खजियार, इंद्रुनाग जैसे पर्यटक स्थलों पर पैराग्लाइडिंग गतिविधियां करवाई जाती है जोकि अनेक लोगों को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से रोज़गार उपलब्ध करवाती हैं। जुन्गा में पैराग्लाइडिंग गतिविधियों के सुचारू संचालन से कई लोगों को रोजगार प्राप्त होगा। 

जुन्गा का इतिहास

हिमाचल प्रदेश 25 जनवरी, 1971 को एक अलग राज्य बना। इससे पहले यहाँ 31 रियासतें थीं और बुशहर और क्योंथल सबसे बड़ी और सबसे प्रभावशाली रियासतों में से थीं, जुन्गा क्योंथल राज्य की राजधानी थी। “जुन्गा” नाम स्थानीय देवता के नाम से लिया गया है जो कि टोटेम यानी राजा राजवंश के कुल देवता हैं जिन्हें जुन्गा देवता के नाम से जाना जाता है और न्याय का देवता भी कहा जाता है। जुन्गा में जुन्गा देवता का एक सुंदर मंदिर है जहां अभी भी शुभ अवसरों पर धार्मिक उत्सव आयोजित किए जाते हैं। 

बेहतर सड़क कनेक्टिविटी

जुन्गा सड़क नेटवर्क से बहुत अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। शिमला से 15 किलोमीटर, कुफरी से 17 किलोमीटर, कंडाघाट से 21 किलोमीटर और चायल से 22 किलोमीटर। आने वाले फोरलेन से कनेक्टिविटी हाईवे करीब 8 किलोमीटर होगी। शिमला के आसपास सभी प्रमुख पर्यटन स्थलों तक आसान कनेक्टिविटी जुन्गा को एक अत्यधिक आकर्षक वैकल्पिक पर्यटन स्थल बनाते हैं।

ट्रैकिंग के शौक़ीन लोगों के लिए उपयुक्त है जुन्गा
जुन्गा घने चीड़ और देवदार के जंगलों से घिरा हुआ है, जो पर्यावरण और रोमांच के शौकीन लोगों के लिए कई खूबसूरत वन मार्ग पेश करता है। शहर के चारों ओर वनस्पतियों और जीवों की एक विस्तृत और विविध श्रृंखला उपलब्ध है। यहां कई ट्रैक हैं जो विशेष रूप से साहसिक उत्साही पर्यटकों को आकर्षित करने की क्षमता रखते हैं जिसमें झरने के लिए ट्रैक, पुराने तारा देवी मंदिर के लिए ट्रैक, शिव पत्थर मंदिर के लिए ट्रैक और चायल और कुफरी के लिए ट्रैक शामिल हैं।

आध्यात्मिक पर्यटन सर्किट 
जुन्गा और इसके आसपास कई खूबसूरत मंदिर हैं, जिनमें से प्रत्येक की अपनी आध्यात्मिक कहानी है और इसके इष्टदेव यानी जुंगा देवता की विस्मयकारी दंतकथाएं हैं। शहर से थोड़ी दुरी पर एक बौद्ध मठ, शिव पत्थर मंदिर, पथरी माता मंदिर, पुराना तारा देवी मंदिर और प्रसिद्ध साईं मंदिर भी है जोकि आध्यात्मिक पर्यटन सर्किट को पूर्ण करते हैं।

एक बार पैराग्लाइडिंग जरूर करें – रिया और संदीप 

श्रीनगर मेडिकल कॉलेज से शिमला के जुन्गा स्थित द ग्लाइड इन में पैराग्लाइडिंग करने आई छात्रा रिया ने बताया कि पैराग्लाइडिंग का उनका यह पहला अनुभव जोकि बहुत अच्छा रहा। इसी प्रकार रिया के साथ आये उनके सहपाठी संदीप जोशी ने बताया कि पैराग्लाइडिंग करके उन्हें बहुत मजा आया। उन्होंने कहा कि पैराग्लाइडिंग का शौक रखने वाले पर्यटक द ग्लाइड इन जुन्गा में 12 से 15 अक्टूबर तक आयोजित किये जा रहे शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल में आ कर पैराग्लाइडिंग से जुड़ी बातों को सीख सकते हैं और इस फेस्टिवल का आनंद ले सकते हैं। 

पैराग्लाइडिंग कर रहे लोगों की सुरक्षा का पूरा ध्यान – श्रीराम

ओ.पी.जिंदल ग्लोबल यूनिवर्सिटी सोनीपत हरियाणा से आये श्रीराम ने बताया कि वह मूल रूप से तमिलनाडु से हैं और पहली बार शिमला आये हैं। जब उन्हें पता चला की शिमला के जुन्गा में द ग्लाइड इन में पैराग्लाइडिंग करवाई जाती है तो उन्होंने पैराग्लाइडिंग करने का मन बनाया। उन्होंने कहा कि द ग्लाइड इन में पैराग्लाइडिंग करने का उनका अनुभव बहुत अच्छा रहा। यहाँ पायलट अच्छे से पैराग्लाइडिंग कर रहे लोगों की सुरक्षा का पूरा ध्यान रखते हैं। उन्होंने बताया उड़ान के दौरान उन्होंने पैराग्लाइडिंग से जुडी कई बातें सीखी। श्रीराम ने कहा कि पैराग्लाइडिंग का शौंक रखने वाले शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल में भाग लेकर इस साहसिक गतिविधि के बारे में जान सकते हैं। 

द ग्लाइड इन में हैं अनुभवी पायलट

द ग्लाइड इन जुन्गा में पायलट के तौर पर कार्य कर रहे संजय बताते हैं कि वह मूल रूप से नैनीताल से हैं और पिछले 3 साल से द ग्लाइड इन जुन्गा में पैराग्लाइडिंग करवा रहे हैं। उन्होंने देश-विदेश के सभी पैराग्लाइडिंग पायलट से शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल में हिस्सा लेने का आग्रह किया। इसी प्रकार, खजियार जिला चम्बा के निवासी अजय भी द ग्लाइड इन जुन्गा में पिछले ढाई साल से पैराग्लाइडिंग फ्लाइंग करवा रहे हैं। उन्होंने ज्यादा से ज्यादा पैराग्लाइडिंग पायलट से इस फेस्टिवल में भाग लेने का आग्रह किया है। 

ऐसे कर सकते हैं फेस्टिवल के लिए पंजीकरण

प्रतियोगिता के लिए द ग्लाइड इन जुन्गा की आधिकारिक वेबसाइट theglideinn.com या मोबाइल नंबर 7428097435 या मेल अड्रेस [email protected] के माध्यम से प्रतिभागी अपना पंजीकरण करवा सकता है। पंजीकरण के लिए 5500 रुपये की राशि निर्धारित की गयी है। 

शिमला फ्लाइंग फेस्टिवल के दौरान यह गतिविधियां भी होंगी

इसके अतिरिक्त फ्लाइंग फेस्टिवल शिमला के दौरान छात्रों की बैंड प्रतियोगिता, भाषा एवं संस्कृति विभाग के सांस्कृतिक दलों की प्रस्तुतियां, स्वयं सहायता समूहों की प्रदर्शनिया एवं फ़ूड स्टाल का भी स्थापित किए जाएंगे। इसके अतिरिक्त, प्रतियोगिता में भाग लेने वाले प्रतिभागियों के लिए हिमाचली धाम की भी व्यवस्था रहेगी। फेस्टिवल के दौरान एक स्मारिका का विमोचन भी किया जाएगा।

Happy
Happy
0 %
Sad
Sad
0 %
Excited
Excited
0 %
Sleepy
Sleepy
0 %
Angry
Angry
0 %
Surprise
Surprise
0 %

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Previous post मुख्यमंत्री ने राज्य स्तरीय मैराथन (रेड रन) का शुभारम्भ किया
Next post ईमानदारी तथा समर्पण भाव से कार्य करें नवनियुक्त सहायक अभियंता: मुख्यमंत्री
error: Content is protected !!