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ग्राम पंचायत केलोधार,शैंदल,मेहरन व कनेरी माहोग के स्वयंसेवी ले रहे भाग
आपदा जोखिम न्यूनीकरण व आपदा जोखिम से निपटने के लिए जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण मंडी के सौजन्य से तीन दिवसीय प्रशिक्षण कार्याशाला कार्यवाहक एसडीएम व तहसीलदार करसोग वरुण गुलाटी की अध्यक्षता में शुरू हुई। कार्यशाला का आयोजन 18 नवंबर से 20 नवम्बर,2024 तक किया जाएगा। तीन दिवसीय कार्यशाला में ग्राम पंचायत केलोधार,शैंदल,मेहरन व कनेरी माहोग से आपदा प्रबंधन टास्क फोर्स के 60 स्वयंसेवी भाग ले रहे है।
प्रशिक्षण कार्यक्रम के पहले दिन एसडीएम ने कहा कि किसी भी प्रकार की प्राकृतिक आपदा से निपटने में स्वयंसेवी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते है। उन्होंने कहा कि आपदा जोखिम न्यूनीकरण के लिए जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण मंडी के सौजन्य से तीन दिवसीय प्रशिक्षण कार्याशाला का आयोजन स्वयंसेवियों के लिए किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सभी वॉलंटियर प्रशिक्षण को गंभीरता से ग्रहण करें ताकि किसी भी प्रकार की आपदा की स्थिति में लोगों के जीवन को सुरक्षित बचाया जा सके।
उन्होंने कहा कि इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्दे्श्य ऐसे युवा स्वयंसेवकों की टास्क फोर्स तैयार करना है जो भूकंप, भूस्खलन व बाढ़ जैसी विभिन्न प्राकृतिक आपदाओं में अपनी सहभागिता सुनिश्चित कर आपदा से होने वाले जानमाल के नुकसान को कम करने में अपनी भूमिका निभा सके।
प्रशिक्षण कार्यक्रम के दौरान जिला आपदा प्राधिकरण मंडी से जिला समन्वयक अमरजीत सिंह ने इस कार्याशाला में आपदा प्रबंधन के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान की। उन्होंने कहा कि जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण द्वारा इस कार्याशाला का आयोजन आपदा प्रबंधन को लेकर लोगों को संवेदनशील बनाने और उन्हें जागरूक करने के उद्देश्य से किया जा रहा है।
उन्होंने कार्यशाला में उपस्थित स्वयंसेवियों को भूस्खलन, बादल फटना, बाढ़ व आगजनी के समय बरती जाने वाली विभिन्न सावधानियों व घटना स्थल से प्रभावितों को सुरक्षित बाहर निकालने के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी प्रदान की।
इस दौरान स्वयंसेवियों को सुरक्षित व भूकंपरोधी भवन निर्माण के अतिरिक्त आपदा के समय दिए जाने वाले प्राथमिक उपचार के बारे में भी जानकारी प्रदान की गई।
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