धर्मशाला, 21 दिसंबर। उपायुक्त कांगड़ा डॉ. निपुण जिंदल ने विकास कार्यों में कोताही बरतने का कड़ा संज्ञान लेते हुए जिले के 8 विकास खंडों की 28 ग्राम पंचायतों के प्रधानों को कारण बताओ नोटिस जारी किए हैं। उपायुक्त ने इन पंचायतों द्वारा 15वें वित्त आयोग में साल 2021-22 और 2022-23 तक विकास कार्यों के लिए स्वीकृत धनराशि को व्यय न करने पर यह कार्रवाई की है। प्रधानों को 15 दिनों के भीतर नोटिस का जवाब देने के लिए कहा गया है। तय अवधि में उत्तर न देने वालों पर हिमाचल प्रदेश पंचायती राज अधिनियम 1994 के तहत नियमानुसार आगामी कार्रवाई की बात कही गई है।
उपायुक्त ने बताया कि खंड विकास अधिकारियों के साथ धर्मशाला में एक-दो दिन पीछे हुई समीक्षा बैठक में यह पुष्टि हुई कि जिले की 28 ग्राम पंचायतों में 15वें वित्त आयोग में साल 2021-22 और 2022-23 तक विकास कार्यों के लिए स्वीकृत धनराशि को व्यय नहीं किया गया है। इसकी ऑनलाईन रिपोर्ट भी शून्य दर्शाई गई है। इससे प्रतीत होता है कि इन ग्राम पंचायतों द्वारा विकासात्मक कार्यों के निष्पादन में कोताही बरती जा रही है। उन्होंने कहा कि सरकारी धन का जन विकास के कामों में सदुपयोग न करने की प्रवृति ठीक नहीं है। इस प्रकार की कोताही कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
उपायुक्त ने बताया कि संबंधित ग्राम पंचायतों के प्रधानों को कारण बताओ नोटिस जारी कर 15 दिन में अपने खंड विकास अधिकारी के माध्यम से उपायुक्त कार्यालय को जवाब प्रस्ततु करने के लिए कहा गया है। ऐसा न करने वालों पर आगे नियमानुसार कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
इन पंचायतों के प्रधानों को जारी हुआ नोटिस
विकासात्मक कार्यों में कोताही पर विकास खंड बैजनाथ की ग्राम पंचायत बड़ा भंगाल, भटू पंजाला, फटाहर, कोठी कोहड़, लवाई, ननहार, नरघोह, सेल और सपेड़ू, विकास खण्ड नगरोटा बगवां की ग्राम पंचायत बलधर, कबाड़ी, रौंखर और सेराथाना, विकास खण्ड नगरोटा सूरियां की ग्राम पंचायत भाली, गुलेर, लुदरेट, मर्यणा, राजोल और बनतुगंली, विकास खण्ड नूरपुर की ग्राम पंचायत हाथीधार, खन्नी बदूही और सुखार, विकास खण्ड पंचरुखी की ग्राम पंचायत भरवाना तथा सलेरा, विकास खण्ड प्रागपुर की ग्राम पंचायत चनौर, विकास खण्ड रैत की ग्राम पंचायत पलोथा तथा रावा और विकास खण्ड सुलह स्थित भेडू महादेव की ग्राम पंचायत बछवाई के प्रधान को कारण बताओ नोटिस दिया गया है।
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