केन्द्रीय सरकार द्वारा अधिसूचित 33 आपदाओं में से 25 आपदाएं हिमाचल प्रदेश में मौजूद

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कुल्लू, 3 नवम्बर।

उपायुक्त एवं  अध्यक्ष जिला आपदा प्राधिकरण  आशुतोष गर्ग ने जानकारी दी कि   प्रदेश राज्य में सुरक्षित निर्माण को बढ़ावा देने के लिए सेवानिवृत्त अभियंताओं की सेवाओं के उपयोग हेतू केन्द्रीय सरकार द्वारा अधिसूचित 33 आपदाओं में से 25 आपदाएं हिमाचल प्रदेश में मौजूद है। राज्य भूकंप, भूस्खलन, बाढ़, हिमस्खलन और सूखे सहित विभिन्न प्राकृतिक आपदाओं के लिए संवेदनशील है। इनमें से भूकंप विशेष चिंता का विषय हैं भूकंप जोखिम क्षेत्र: राज्य का लगभग 32% भौगोलिक क्षेत्र अत्यधिक क्षति जोखिम क्षेत्र (जोन पांच) में आता है, जबकि शेष क्षेत्र जोन फोर में आता है। यह वर्गीकरण भूकंप की संवेदनशीलता के विभिन्न स्तरों को इंगित करता है। भूकंप के प्रति संवेदनशीलता को कम करने के लिए सुरक्षित निर्माण पद्धतियों को बढ़ावा देना महत्वपूर्ण है। इस तरह की प्रथाएं न केवल आपदा के बाद होने वाली क्षति को कम करती हैं बल्कि मानव जीवन की भी रक्षा करती हैं। भूकंप की भविष्यवाणी नहीं की जा सकती, इसलिए भूकंप प्रतिरोधी भवन प्रथाओं के माध्यम से तैयारी महत्वपूर्ण है।
पहाड़ी राज्य में सुरक्षित निर्माण प्रथाओं की संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए सेवानिवृत्त तकनीकी विशेषज्ञता के एक मजबूत पूल की आवश्यकता है। यह विशेषज्ञता सुरक्षित निर्माण प्रथाओं के बारे में व्यापक जागरूकता पैदा करने में सहायता कर सकते है। जिस के लिए हमें सेवानिवृत्त तकनीकी रूप से योग्य व्यक्तियों जैसे कनिष्ठ अभियंता , सहायक अभियंता, की सेवाओं की आवश्यकता रहेगी। इनकी सेवाओं का सीधा-सीधा लाभ, शहरी/ग्रामीण स्तर पर जो व्यक्ति मकान बनाने चाहते हैं उठा पाएंगे।
जो सेवानिवृत्त तकनीकी व्यक्ति अपनी सेवाएं देने के लिए इच्छुक है, राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण उनका  वेबसाइट   तैयार कर रहा है। इसके अन्तर्गत मूल रूप से सिविल अभियांत्रिकी  क्षेत्र से सम्बन्ध रखने वाले व्यक्ति होंगे, जो अलग-अलग विभागों में अपनी सेवाएं दे चुके हैं। इस तरह की सेवाएं देने वाले व्यक्तियों का डेटाबेस राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण और जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की वेबसाइट पर उपलब्ध रहेगा। इसके अन्तर्गत जरूरतमंद लोग आवश्यकतानुसार तकनीकी सेवा प्रदाता की सेवाएं का लाभ सुनिश्चित कर पाएंगे जिससे आने वाले समय में प्रदेश में सुरक्षित निर्माण कार्य को बढ़ावा मिलेगा। अतः मकान बनाने वाले व्यक्ति और सेवा प्रदाता के बीच होने वाले आपसी समझौते में सरकार का कोई हस्तक्षेप नहीं होगा। इच्छुक सेवा प्रदाता अपना पंजीकरण हिमाचल प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की website www.hpsdma.nic.in पर कर सकते हैं।
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