मुख्य निर्वाचन अधिकारी मनीष गर्ग ने लोकतंत्र के महापर्व में अपनी सहभागिता सुनिश्चित कर इसे सफल बनाने के लिए प्रदेश के मतदाताओं का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि हिमाचल के लोगों ने मतदान प्रक्रिया में उत्साह के साथ भाग लिया। उन्होंने कहा कि भारत चुनाव आयोग तथा हिमाचल निर्वाचन विभाग के सतत प्रयासों तथा लोगों की भागीदारी से ही प्रदेश में सफल मतदान सम्भव हो पाया है।
उन्होंने मतदान में रुचि दिखाने और लोकतांत्रिक प्रक्रिया में योगदान देने के लिए पहली बार भाग लेने वाले युवा मतदाताओं एवं बुजुर्ग मतदाताओं, महिला मतदाताओं तथा दिव्यांगजन मतदाताओं सहित सभी श्रेणी के मतदाताओं का भी विशेष रूप से आभार व्यक्त किया।
मनीष गर्ग ने भारत निर्वाचन आयोग, विशेषकर मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार का समय-समय पर निर्वाचन विभाग का निरन्तर मार्गदर्शन करने के लिए आभार व्यक्त किया।
उन्होंने कहा कि राज्य मुख्यालय में प्राप्त अभी तक की सूचनाओं के अनुसार सांय 5.30 बजे तक चार संसदीय क्षेत्रों में लगभग 68 प्रतिशत तथा छः विधानसभा उप-चुनावों में लगभग 69 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया। उन्होंने कहा कि लोग सुबह जल्दी ही अपने घरों से निकलकर मतदान केन्द्रों पर पहुंचना आरम्भ हो गए थे और मतदान आरम्भ प्रातः 11 बजे तक 31.92 प्रतिशतता दर्ज की गई, जो दोपहर एक बजे तक 48.63 प्रतिशत, जबकि सांय 5 बजे यह 66.56 प्रतिशत दर्ज की गई।
उन्होंने बताया कि सांय 5.30 बजे तक प्राप्त सूचना के अनुसार लाहौल-स्पिति जिला में सबसे अधिक 73.8 प्रतिशत मतदान दर्ज हुआ, किन्नौर जिला में 71.45 प्रतिशत, कुल्लू जिला में 71.3 प्रतिशत, जबकि चम्बा और कांगड़ा जिलों में सबसे कम 65-65 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया। उन्होंनेे बताया कि मतदान प्रतिशतता के अन्तिम आंकड़े सभी पोलिंग पार्टियों के वापिस आने तथा दस्तावेजों की स्क्रूटनी के बाद ही जारी किए जाएंगे।
उन्होंने कहा कि राज्य में मतदान शांतिपूर्ण रहा, जिसके लिए निर्वाचन विभाग द्वारा समुचित व्यवस्था की गई थी। दूर-दराज के क्षेत्रों में भी लोग पूरे जोश और उत्साह के साथ मतदान के लिए पहुॅचे। जनजातीय जिला लाहौल-स्पीति में 92 तथा किन्नौर में 128 के अतिरिक्त चम्बा जिला के जनजातीय क्षेत्र भरमौर तथा पांगी में कुल 152 मतदान केंद्र बनाए गए थे।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि पर्यावरण संरक्षण एवं हरित आवरण को बढ़ाने के सन्देश के दृष्टिगत प्रदेश के विभिन्न भागों में कुल 44 ग्रीन पोलिंग स्टेशन स्थापित किए गए थे। सेवा अहर्ता मतदाताओं को छोड़कर राज्य के लगभग 56.45 लाख मतदाताओं के लिए राज्य में कुल 7992 मतदान केंद्र स्थापित किए गए थे। उन्होंने बताया कि प्रदेश में इसके अतिरिक्त कुल 66390 सेवा अहर्ता मतदाता हैं। उन्होंने बताया कि संसदीय क्षेत्रों के लिए 37 व विधानसभा उप-चुनावों के लिए 25 उम्मीदवार मैदान में थे जिनमें से संसदीय क्षेत्रों के लिए 3 व विधानसभा उप-चुनावों के लिए एक महिला उम्मीदवार शामिल हैं। सबसे अधिक 12 उम्मीदवार हमीरपुर तथा सबसे कम पांच उम्मीदवारों ने शिमला संसदीय क्षेत्र से चुनाव लड़ा।
उन्होंने कहा कि पूरी मतदान प्रक्रिया की रीयल टाइम मॉनिटरिंग के लिए 4885 मतदान केंद्रों को लाइव वेब कास्टिंग के माध्यम से कवर किया गया, जिसकी राज्य, जिला और विधानसभा क्षेत्र स्तर पर स्थापित नियंत्रण कक्षों के माध्यम से लगातार निगरानी की जा रही थी। प्रदेश में पूर्णतः महिलाओं द्वारा संचालित 195, दिव्यांगजनों द्वारा 28 तथा युवाओं द्वारा 54 मतदान केन्द्र संचालित किए गए। उन्होंने बताया कि इसके अतिरिक्त, 280 आदर्श मतदान केन्द्र स्थापित किए गए थे। साथ ही हमीरपुर, ऊना, चंबा, किन्नौर जैसे कई जिलों में छोटे बच्चों के लिए क्रेच की व्यवस्था भी की गई थी। इसके अतिरिक्त, निचले क्षेत्रों में गर्मी से बचाव के लिए मतदान केन्द्रों में शामियानों की व्यवस्था के साथ-साथ वोटरों को ओ.आर.एस. घोल, स्वास्थ्य किट इत्यादि की व्यवस्था भी की गई।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि प्रदेश में हुए मतदान के अतिरिक्त 85 वर्ष से अधिक आयुवर्ग, दिव्यांगजन तथा अनिवार्य सेवाओं के लगभग 41924 मतदाता डाक मतपत्र के माध्यम से पहले ही अपने मत का प्रयोग कर चुके हैं।
उन्होंने बताया कि मतदान प्रक्रिया पर निगरानी रखने तथा चुनाव प्रक्रिया को निष्पक्ष एवं पारदर्शी बनाने के लिए चुनाव आयोग द्वारा चार सामान्य पर्यवेक्षक, छः व्यय पर्यवेक्षक और तीन पुलिस पर्यवेक्षक नियुक्त किए गए थे।
16 मार्च, 2024 को हुई मतदान की घोषणा से राज्य में आचार संहित लागू हो जाने के बाद मतदान के दिन तक पुलिस, आयकर, राज्य कर एवं आबकारी, वन तथा उद्योग विभागों की प्रवर्तन एजेंसियों द्वारा की गई संयुक्त कार्यवाही में लगभग 27 करोड़ की जब्ती की गई, जो पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान की गई जब्ती से अढ़ाई गुणा अधिक है। इसमें नकदी, अवैध शराब, सोना, आभूषण, चरस एवं नशीले पदार्थ तथा खनन अधिनियम के अन्तर्गत चालान आदि शामिल हैं। वर्ष 2019 के लोकसभा चुनावों में लगभग 11.31 करोड़ की जब्ती की गई थी।
इन चुनावों के दौरान निर्वाचन विभाग को कुल 2236 शिकायतें प्राप्त हुईं, जिनमें से 2008 शिकायतें निर्धारित समयवधि में निपटा दी गईं। सी-विजिल पर 773 शिकायतें प्राप्त हुई थीं, जिनमें से 771 का निपटारा कर दिया गया है।
Read Time:8 Minute, 4 Second
Average Rating