जिला के शिक्षण संस्थान बनाए जाएंगे तंबाकू मुक्त – उपायुक्त

Read Time:6 Minute, 18 Second

जिला शिमला में तम्बाकू नियंत्रण को लेकर जिला समन्वय समिति की बैठक उपायुक्त अनुपम कश्यप की अध्यक्षता में सोमवार को आयोजित की गई।
इस बैठक में निर्णय लिया गया है कि जिला भर के स्कूलों, कॉलेजों और अन्य शिक्षण संस्थानों को तंबाकू मुक्त बनाया जाएगा। पहले चरण में शिमला शहर के सभी कॉलेजों को तम्बाकू मुक्त बनाया जाएगा। इसके लिए सभी कॉलेजों में भाषण एवं वाद-विवाद प्रतियोगिता करवाई जाएगी। इसके अलावा, तय मानकों के अनुसार कॉलेजों को तम्बाकू मुक्त बनाया जाएगा।
उपायुक्त अनुपम कश्यप ने कहा कि जिला की जो पंचायत तम्बाकू मुक्त बनेगी, उन्हें सम्मानित भी किया जायेगा। वहीं गांव के स्तर पर तम्बाकू मुक्त गांव बनाया जाएगा। उन्होंने जिला के जनप्रतिनिधियों से अपील की अपने-अपने गांव, पंचायत और आसपास के क्षेत्र को तम्बाकू मुक्त बनाने की दिशा में पूर्ण रूप से कार्य करें। 
उपायुक्त ने “टूगेदर इंडिया सेज नो टू टोबैको एंड ड्रग“ हस्ताक्षर अभियान की लॉन्चिंग भी की। जिला भर में ये अभियान शुरू किया जाएगा जिसमें लोगों को नशे से दूर रहने के लिए प्रेरित किया जाएगा। 
बैठक में मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ राकेश प्रताप, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक रत्न नेगी सहित अन्य अधिकारी भी मौजूद रहे।

तंबाकू मुक्त युवा अभियान 2.0
बैठक में प्रोग्राम अधिकारी डा राखी शर्मा ने स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा चलाए  जा रहे तंबाकू मुक्त युवा अभियान 2.0 के बारे में विस्तृत जानकारी दी। इस अभियान का उद्देश्य युवाओं को तंबाकू सेवन से बचने एवं इसे त्यागने के लिए प्रेरित करना है। इस अभियान की अवधि 60 दिन है। अभियान 5 प्रमुख प्राथमिकता क्षेत्रों पर कार्य करता है जिनमें तम्बाकू के खतरों के बारे में सार्वजनिक जागरूकता बढ़ाना। स्कूलों और कॉलेजों को तंबाकू से मुक्त रखने के लिए तंबाकू मुक्त शैक्षणिक संस्थानों के संशोधित दिशानिर्देशों के अनुपालन में सुधार करना, युवाओं की तम्बाकू तक पहुंच को सीमित करने के लिए तम्बाकू नियंत्रण कानूनों, (सिगरेट और अन्य तंबाकू उत्पाद अधिनियम 2023 इलेक्ट्रॉनिक सिगरेट निषेध अधिनियम 2019 आदि) के प्रवर्तन को मजबूत करना। इसके साथ ही तम्बाकू मुक्त गांवों की संख्या में वृद्धि करना और सोशल मीडिया पहुंच को बढ़ावा देना।

इन मानको से तय होगा तंबाकू मुक्त संस्थान
**शिक्षण संस्थान में विशिष्ठ स्थानों पर धूम्रपान, तम्बाकू मुक्त क्षेत्र का बोर्ड लगा होना चाहिए और उस पर संस्थान के नॉडल अधिकारी का नाम, पदनाम व फोन नंबर लिखा होना चाहिए। (नमूना क) 
**शिक्षण संस्थान के प्रवेश द्वार, सीमा पर तम्बाकू मुक्त शिक्षण संस्थान का बोर्ड लगा होना चाहिए और उस पर संस्थान के नॉडल अधिकारी का नाम, पदनाम व फोन नंबर लिखा होना चाहिए। (नमूना ख)

**शिक्षण संस्थान के प्रभारी को स्वयं या किसी अध्यापक को तम्बाकू नियंत्रण के लिए नोडल अधिकारी (तंबाकू मॉनिटर) नियुक्त करना होगा, जिसका नाम बोर्ड क और ख में लिखा होना चाहिए।
**शिक्षण संस्थान की सीमा के अंदर सिगरेट, बीड़ी के टुकड़े, टोटे या खाने वाले तम्बाकू के पैकेट आदि नहीं मिलने चाहिए।
**शिक्षण संस्थान में उपयुक्त स्थान पर तम्बाकू से होने वाले नुकसान के बारे में जानकारी हेतु पोस्टर लगे होने चाहिए। 
**शिक्षण संस्थान में प्रत्येक 6 मास में कम से कम एक बार तम्बाकू नियंत्रण पर कोई कार्यक्रम आयोजित होना चाहिए जैसे की रैली, भाषण प्रतियोगिता, पेंटिंग प्रतियोगिता या सेमिनार आदि।
**शिक्षण संस्थान की नियमावली में शिक्षण संस्थान के अंदर तम्बाकू का प्रयोग न करने का प्रावधान होना चाहिए।
**यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि शिक्षण संस्थान के 100 गज के दायरे में तम्बाकू पदार्थों की बिक्री न हो।
**शिक्षण संस्थान के 100 गज के दायरे की निशानदेही होनी चाहिए। रिहायशी, व्यावसायिक क्षेत्र अथवा सड़क इत्यादि पर 100 गज के दायरे को किसी पक्के रंग से अंकित किया जा सकता है, जिससे 100 गज के भीतर तम्बाकू पदार्थों की बिक्री का एक ही नजर में पता चल सके।

Happy
Happy
0 %
Sad
Sad
0 %
Excited
Excited
0 %
Sleepy
Sleepy
0 %
Angry
Angry
0 %
Surprise
Surprise
0 %

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Previous post वन मित्र भर्ती हेतु दस्तावेजों की जाँच 26 नवंबर को
Next post जिला कुल्लू में प्राकृतिक खेती से तैयार मक्की खरीद कार्यक्रम का शुभारम्भ
error: Content is protected !!