कांग्रेस नेता राहुल गांधी द्वारा अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन की तुलना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से करते हुए दिए गए बयान पर विदेश मंत्रालय (MEA) ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। राहुल गांधी ने कहा था, “मोदी जी की याददाश्त भी जो बाइडेन की तरह कमजोर हो रही है।”
MEA का बयान
इस टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए MEA ने इसे “दुर्भाग्यपूर्ण और अनुचित” बताया। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा:
“यह बयान भारत सरकार का रुख नहीं दर्शाता है। ऐसे बयान भारत और अमेरिका के बीच मैत्रीपूर्ण संबंधों के अनुरूप नहीं हैं।”
भारत-अमेरिका संबंधों पर असर
भारत और अमेरिका के संबंध हाल के वर्षों में काफी मजबूत हुए हैं। दोनों देश रक्षा, व्यापार और तकनीकी सहयोग जैसे क्षेत्रों में साथ काम कर रहे हैं। राहुल गांधी के इस बयान को अमेरिकी राष्ट्रपति पर व्यक्तिगत टिप्पणी के रूप में देखा जा रहा है, जिससे दोनों देशों के संबंधों पर सवाल खड़े हो सकते हैं।
राजनीतिक विवाद
राहुल गांधी की टिप्पणी ने राजनीतिक बहस छेड़ दी है। भाजपा नेताओं ने इस बयान की कड़ी आलोचना की है। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा, “राहुल गांधी अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की छवि खराब करने की कोशिश कर रहे हैं। उनके ऐसे बयान गैर-जिम्मेदाराना हैं।”
कांग्रेस का पक्ष
हालांकि, कांग्रेस पार्टी ने इस बयान का बचाव करते हुए कहा कि राहुल गांधी ने केवल प्रधानमंत्री की कार्यशैली की आलोचना की है। पार्टी ने इसे विपक्ष की लोकतांत्रिक जिम्मेदारी बताया।
आगे का मार्ग
MEA का यह स्पष्ट बयान भारत सरकार की कूटनीतिक स्थिति को साफ करता है कि राहुल गांधी के व्यक्तिगत बयान का भारत-अमेरिका संबंधों पर कोई असर नहीं पड़ना चाहिए। यह देखना दिलचस्प होगा कि इस विवाद के बीच कांग्रेस और भाजपा के बीच राजनीतिक गर्मी कैसे बढ़ती है।